इंटरमिटेंट फास्टिंग वजन कम करने के लिए किए जाने वाले उपवास का एक तरीका है। यह सामान्य डाइट से अलग खाने का एक पैटर्न है और इससे वजन कम करने के साथ-साथ अन्य कई स्वास्थ्य लाभ मिल सकते हैं। हालांकि, इसे बिना डॉक्टरी सलाह के फॉलो करने से बचें। आइए आज हम आपको इस डाइट के फायदे और इससे जुड़े दुष्प्रभावों के बारे में विस्तार से बताते हैं।
इंटरमिटेंट फास्टिंग के प्रकार
इंटरमिटेंट फास्टिंग के 10 प्रकार हैं, जिसमें से सबसे चर्चित 2 प्रकार (16/8 इंटरमिटेंट फास्टिंग और हर दूसरे दिन उपवास रखना) हैं। 16/8 इंटरमिटेंट फास्टिंग: इसके अंतर्गत व्यक्ति को 16 घंटे तक उपवास रखना और 8 घंटे का समय खाने के लिए होता है। हर दूसरे दिन का उपवास: इसमें हफ्ते के हर दूसरे दिन उपवास रखा जाता है। उदाहरण के लिए अगर कोई सोमवार को खाना खा रहा है तो वो मंगलवार को उपवास रख सकता है।
इंटरमिटेंट फास्टिंग को फॉलो करने से मिलने वाले फायदे
एक शोध के मुताबिक, इंटरमिटेंट फास्टिंग सामान्य वजन, अधिक वजन और मोटापे से ग्रस्त व्यक्तियों के बीच वजन घटाने में प्रभावी हो सकती है। इसके अलावा यह डाइट हृदय को स्वस्थ रखने, खराब कोलेस्ट्रॉल को कम करने, कैंसर के जोखिम कम करने और लीवर को डिटॉक्स करने में भी मदद कर सकती है। यह डाइट मानसिक स्वास्थ्य के लिए भी लाभदायक होती है।
इंटरमिटेंट फास्टिंग से हो सकते हैं ये नुकसान
कई अध्ययनों में इंटरमिटेंट फास्टिंग के कुछ नुकसान भी सामने आए हैं। जैसे कि जब कोई व्यक्ति इंटरमिटेंट फास्टिंग शुरू करता है तो उसका शरीर अलग तरह से काम करने लगता है, जिससे उसको कमजोरी या सिरदर्द की समस्या हो सकती है। उपवास की वजह से चिड़चिड़ाहट या मूड स्विंग हो सकता है या खाने की इच्छा और ज्यादा बढ़ सकती है। साथ ही चक्कर आने की परेशानी हो सकती है।
इंटरमिटेंट फास्टिंग किन खाद्य पदार्थों का सेवन है बेहतर
इंटरमिटेंट फास्टिंग के दौरान हाई फाइबर युक्त खाद्य पदार्थ (साबुत फल, अनाज और सब्जियां) का सेवन किया जा सकता है। ब्रेकफास्ट और स्नैक्स में फलों और उनके जूस के साथ व्यक्ति अपनी पसंद के पोषण से भरपूर खाद्य पदार्थों का सेवन कर सकता है। इंटरमिटेंट फास्टिंग में 500 केसीएल से अधिक कैलोरी वाली चीजों को नहीं खाना चाहिए।साथ ही इंटरमिटेंट फास्टिंग के दौरान पानी और अन्य तरल पदार्थों का सेवन करें, जिससे शरीर हमेशा हाइड्रेट रहें।
क्या कोई भी इंटरमिटेंट फास्टिंग का विकल्प चुन सकता है
कई लोग मानते हैं कि कोई भी इंटरमिटेंट फास्टिंग का विकल्प चुन सकता है, लेकिन ऐसा नहीं है। गर्भवती और स्तनपान कराने वाली महिलाओं के लिए इंटरमिटेंट फास्टिंग को चुनना सही नहीं है क्योंकि शिशु के पर्याप्त विकास के लिए उन्हें नियमित रूप से उचित मात्रा में कैलोरी की आवश्यकता होती है, जो कि इंटरमिटेंट फास्टिंग से नहीं मिल सकती है।इसके अतिरिक्त बच्चों के लिए भी इंटरमिटेंट फास्टिंग सही नहीं है।
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